मशाल जलती रहती है..mashaal Poem by Mehta Hasmukh Amathaal

मशाल जलती रहती है..mashaal

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मशाल जलती रहती है

वो भी दिन थे जब हम अकेले थे
खेलते कूदते मासूमियत से भरे जवान थे
मारे ख़ुशी से किलकारी करते थे
आसमान में उड़ते पंखियोंकी तरह कल्पना भी करते थे।

कोई मिल जाये पेहचानवाले बुजुर्ग
तो प्रणाम भी किया करते थे सहर्ष
अनादर कभी नाम नहीं सर झुकाके चलते थे
पाठशाला तो होती थी पर झांक लिया करते थे।

चहरे पे दमक और चमक दोनों हुआ करती थी
पिता ख़ुशी के मारे झूमते और माता प्यार से चूमती थी
गरीब जरूर थे पर कभी बताते नहीं थे
में देखता था उनके सपने, बस वो दूर से मुस्कुराते थे।

दिन थे मुस्कुराने के 'हसमुख ' जवानी रास आ गयी
बुलावा आया और देखते ही वो भा गयी
मन ने कह दिया 'हाँ' और बरात की नौबत आ गयी
बसाया कभी ना था जिसको मन मे उनको बनाने की घडी आ गयी।

दिल में थी मातृभूमि की सेवा की लगन
फिर हो गया उनका अचानक आगमन
हम बन बैठे उनके दूल्हा और वो हमारी दुल्हन
फिर तो इजाफा होना ही था और बढ़नी थी पल्टन

दिन थे मुस्कुराने के 'हसमुख ' जवानी रास आ गयी
बुलावा आया और देखते ही वो भा गयी
मन ने कह दिया 'हाँ' और बरात की नौबत आ गयी
बसाया कभी ना था जिसको मन मे उनको बनाने की घडी आ गयी।

दिल में थी मातृभूमि की सेवा की लगन
फिर हो गया उनका अचानक आगमन
हम बन बैठे उनके दूल्हा और वो हमारी दुल्हन
फिर तो इजाफा होना ही था और बढ़नी थी पल्टन

दिन तो पलक झपकते ही होने लगे गायब
हम भी दंग रह जाते थे और कभी तो हो जा ते थे अजायब
कुदरत का करिश्मा ही लगता था और बड़ा मायाजाल
खेर हम दुआ माँगा करते थे और बचे रहते थे बालबाल

पीछे मुड़कर देखने का दिल नहीं करता
'समंदर कैसे तैर गए' वो जानने की तमना नहीं करता
बस सुनहरी यादे है उसे ताजा करते रहते है
भार्या बस अच्छा खाना खिलाकर तरोताजा रखते है

लम्बा जीवनकाल अवश्य ही प्रेरणादायी होता है
जब भी कुछ अनावश्यक हो जाये तो दुखदायी होता है
'सलामत रहे सब और सुखी रहे' यही कामना होती है
'देश की दाज है मन ने और मशाल जलती रहती है

लम्बा जीवनकाल अवश्य ही प्रेरणादायी होता है
जब भी कुछ अनावश्यक हो जाये तो दुखदायी होता है
'सलामत रहे सब और सुखी रहे' यही कामना होती है
'देश की दाज है मन मे' और मशाल जलती रहती है

Monday, July 14, 2014
Topic(s) of this poem: poem
COMMENTS OF THE POEM

Hasmukh Mehta Manish Kumar likes this Just now · Unlike · 1

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Erlc Ross you can go any where with these, the question is once you get dizzy you cannot speak.... 4 hrs · Unlike · 1

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Manju Gupta bahut khoob 4 mins · Unlike · 1

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Anil Gohil likes this. Hasmukh Mehta welcome Just now · Unlike · 1

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Narendra Dubey Wah! 3 mins · Unlike · 1

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Ramkumar Chaturvedi ????? ???? ????? ??? 1 min · Unlike · 1

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JaiRam Tiwari, Puran Chauhan and Avaidyanath Yadav like this.

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welcome snehal mehta Just now · Unlike · 1

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welcome chandresh rathod Just now · Unlike · 1

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Uday Padhar likes this. Hasmukh Mehta welcome Just now · Unlike · 1

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Mehta Hasmukh Amathaal

Mehta Hasmukh Amathaal

Vadali, Dist: - sabarkantha, Gujarat, India
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