गहरा अंधेरा आकाश में चंद्रमा
हर तारों का प्रकाश..को भूल गया..अधिक चांदनी.
मुस्कराते हुए...
चमकता हुआ....
दूर से मुझे देखा हुआ....
मेरे मन को उत्साह से भरता हुआ...!
बहुत ही ख़ूबसूरत नजर आता हुआ..!
हर तारों का प्रकाश..को भूल गया..अधिक चांदनी...!
हर अँधेरे को अपनी रोशनी से भरता हुआ...!
हर अज्ञानता का अहसास को अपनी चमक से भरता हुआ...!
हर असंभव हालत तुम्हारी प्रकाश से संभव लगता हुआ...! हर निराशा तुम्हारी चमकीला उजाला से आशापूर्ण
हुआ...!
हर चिंता अपनी एक झलक...आलोक से समाधान देता हुआ..!
हर महत्वाकांक्षा पूरा करने का उत्साह देता हुआ..!
चांदनी... हर इच्छा पूरी हो यही प्रार्थना करो...
तुमसे..आस्था, आशावादी, प्रेरणा, , मन की शांति, ख़ुशी हो यही प्रार्थना करो...!
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