कहीँ में रख लूँ इस दिल को छुपा के,
कुछ ऐसा लग रहा है तुझसे नजरें मिलाके!
गर हो गयी मुहब्बत तो कह भी न सकूँगा,
दर्द तेरा ले जाये न इस दिल को चुरा के..!
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