मैं आज कहाँ गया
मुझे पता नहीं,
मैं गया कश्मीर या हिमालय,
क्या मैं है रोया,
तेरी याद में,
मुझे पता नहीं ।
जब तृने दिल हैं तोड़ा मेरा,
याद करते तुझे मैं हूँ भुला,
तु रोयी या हँसी
मुझे पता नहीं।
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I would like to translate this poem
Introspective and insightful.