Kavitaai कविताई Poem by Abhaya Sharma

Kavitaai कविताई

सोच रहा था कई दिनों से
कविता लिख दूं इंग्लिश में
मन में भाव नही आते थे
नही आती भाषा भांति भली

रहने दो अब क्या बतलाउं
दिल की बातें गली-गली
माना अंग्रेजी है प्रचलित
समझे जिसको जॉन अली

मै तो पढ़ा-लिखा अनपढ़ हूं
बस हिंदी की हूं एक कली
नही मुझे अफसोस अचंभा
जब भाषाओं की बात चली

नही, नही मैं नही लिख सकता
कविता अंग्रेजी में भी
लिख सकता हूं सिर्फ़ अकेले
कविता बस हिंदी में ही

पढ़ लेता हूं अंग्रेजी मैं
समझ भी लेता कभी-कभी
जब भी लिखता हूं लेकिन मै
सूझी है हिंदी तभी-तभी

नही, नही मैं नही लिख सकता
कविता अंग्रेजी में भी

अभय शर्मा
मुंबई,11 दिसंबर 2009 9.00 प्रातः प्रहर

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Abhaya Sharma

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Bijnor, UP, India
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